बुधवार, 19 नवंबर 2008

दोहा- ००५

विद्या ही इंसान की ,

जग में ऐसी मीत ।

कठिनाई के
समय नर ,

होता न
भयभीत ॥
- किसलय

2 टिप्‍पणियां:

Unknown ने कहा…

kya itana hee likh pate hai
jyada likhen

Unknown ने कहा…

विद्या koun hai